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Deepinder Goyel Birthday : कैंटीन में आए आइडिया से खड़ी की करोड़ों की कंपनी

deepinder goyal

स्मार्टफोन से खाना ऑर्डर करना हो तो अधिकतर लोगों के जेहन में सबसे पहले Zomato का नाम आता है. Zomato आज भारत का सबसे बड़ा और अग्रणी फूड डिलिवरी प्लेटफॉर्म बन गया है. आज के समय में किसी को कुछ भी ऑर्डर करना हो वो Zomato का ही इस्तेमाल करता ही. Zomato का इस्तेमाल तो आप सभी करते हैं लेकिन क्या आप ये जानते हैं कि Zomato कैसे शुरू हुआ? Zomato के मालिक कौन हैं?

Zomato का मालिक कौन हैं? | Zomato owner name 

Zomato एक बहुत बड़ी कंपनी है जिसमें कई सारे लोगों का पैसा लगा हुआ है. इसलिए इसमें कोई एक मालिक नहीं है. लेकिन इस कंपनी को शुरू करने वाले और इसे आगे ले जाने वाले एक ही व्यक्ति हैं जिनका नाम दीपिंदर गोयल है.

दीपिंदर गोयल जीवनी | Deepinder Goyel biography in Hindi

दीपिंदर देश के ऐसे युवा हैं जिन्होंने लोगों की जरूरत को पूरा करके फूड रेस्टोरेन्ट का पूरा सिस्टम ही बदल डाला. पहले होटल और रेस्टोरेन्ट पर खाने के लिए लाईन लगी होती थी लेकिन अब बाप सिर्फ एप पर ऑर्डर देते हैं और खाना आपके घर आ जाता है. इसके लिए न तो आपको होटल जाना पड़ता है और न ही होटल को आपके घर आना पड़ता है. Zomato से आप अपने पसंदीदा होटल से अपनी पसंद का खाना मँगवा सकते हैं.

दीपिंदर गोयल का जन्म पंजाब के मुक्तसर में 26 जनवरी 1983 को हुआ था. माता और पिता दोनों ही शिक्षक थे. दीपिंदर बचपन से ही पढ़ाई में अच्छे थे और मैथ उनका फेवरेट सबजेक्ट था. स्कूलिंग पूरी करने के बाद उन्होंने आईआईटी दिल्ली में एडमिशन लिया. इसके बाद आईआईटी से ही मैथ एंड कम्प्यूटिंग में एमटेक किया. अपनी डिग्री पूरी होने के बाद दीपिंदर ने कंसल्टिंग फर्म बेन एंड कंपनी में बतौर कंसल्टेंट नौकरी की.

कैसे आया Zomato का idea? | How Zomato Start in India?

Zomato आज भले ही इतना पॉपुलर है. ये आज आपको जो सर्विस देता है वो कुछ सालों पहले तक कोई सोच भी नहीं सकता था. जब दीपिंदर नौकरी कर रहे थे तो उन्होने देखा कि उनके कैफेटेरिया में लोग मेनू देखने और अपना ऑर्डर लेने के लिए लंबी लाइन लगाकर खड़े हैं. इसमें उनका समय बर्बाद हो रहा है. इंजीनियर होने के नाते उन्होने उस समय कैफे की उस समस्या को सुलझाने की कोशिश की. उन्होने कैफे के मेनू को स्कैन करके वेबसाइट पर डाल दिया और सभी को वहीं से ऑर्डर देने के लिए कहा. ये आइडिया उस कैफे में काफी हिट हुआ और दीपिंदर के मन में Zomato के बिजनेस ने नीव रख ली.

कैफे में अपने आइडिया को हिट होते हुए देख दीपिंदर के मन में ख्याल आया कि क्यों न ऐसी वेबसाइट बनाई जाए जो शहर के बेहतरीन रेस्टोरेन्ट और उनके मेनू की जानकारी ऑनलाइन दे सके. दीपिंदर के इस आइडिया को उनके कलीग पंकज चड्ढा ने खूब सराहा और दीपिंदर का साथ देने का फैसला किया. साल 2008 में दीपिंदर ने नौकरी में रहने के दौरान ही ऑनलाइन फूड पोर्टल फूडीबे शुरू किया.

फूडीबे का काम यूजर्स के लिए लोकेशन, कीमत और लोकप्रियता के आधार पर रेस्टोरेन्ट की खोज को आसान बनाना था. साल 2009 के अंत तक फूडीबे काफी फेमस हो चुकी थी और इसका कारोबार भी काफी ज्यादा बढ़ चुका था. अपने कारोबार को नैक्सट लेवल पर ले जाने के लिए इन्हें फंडिंग की जरूरत थी.

Zomato कैसे बना? | How Deepinder start Zomato?

दीपिंदर गोयल ने तो फूडीबे शुरू किया था फिर इसका नाम Zomato कैसे हुआ. असल में जब दीपिंदर को निवेश की जरूरत थी तब संजीव बिखचंदानी ने उन्हें 1 मिलियन डॉलर की फंडिंग दी. इसके बाद दीपिंदर ने कंपनी का नाम बदलकर Zomato रख लिया. इसके बाद से Zomato को कई बड़ी-बड़ी इनवेस्टमेंट मिलती रही है. इसमें सबसे बड़ी इनवेस्टमेंट अलीबाबा की ओर से की गई थी जो 210 मिलियन डॉलर थी.

Zomato भारत में काफी ज्यादा फेमस है. जब इसे शेयर बाजार में लिस्ट किया गया तो इसके शेयर तेजी से बढ़े. लेकिन समय के चलते Zomato के शेयर प्राइस में बड़ी गिरावट देखी है. शेयर बाजार में दामों का घटना-बढना तो लगा ही रहता है. लेकिन देश में इतना बड़ी फूड डिलिवरी कंपनी शुरू करना आसान नहीं है.

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