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Dhanteras Shubh Muhurat : धनतेरस कब है, जानिए पूजा विधि और शुभ मुहूर्त 

dhanteras puja vidhi

दिवाली के त्योहार की शुरुआत धनतेरस के दिन से होती है. कहा जाता है कि इस दिन समुद्र मंथन के समय भगवान धन्वंतरि अमृत कलश लेकर प्रकट हुए थे जिस वजह से धनतेरस का त्योहार मनाया जाता है. 

धनतेरस का त्योहार अपने आप में महत्वपूर्ण है क्योंकि इस दिन चिकित्सा विज्ञान की शुरुआत करने वाले भगवान धन्वंतरि प्रकट हुए थे. आयुर्वेद हो या शरीर को ठीक करने की कोई और पद्धति इन सभी की शुरुआत करने वाले भगवान धन्वंतरि हैं. 

धनतेरस पर भगवान धन्वंतरि की ही पूजा की जाती है. इस दिन आप Dhanteras Shubh Muhurat पर Dhanteras Puja कर सकते हैं. 

धनतेरस कब है? (Dhanteras Kab hai?)

धनतेरस प्रत्येक वर्ष को कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को मनाई जाती है. इस वर्ष साल 2022 में ये 23 अक्टूबर, रविवार को है. आप इस दिन धनतेरस की पूजा कर सकते हैं. 

धनतेरस शुभ मुहूर्त (Dhanteras Shubh Muhurat)  

हिन्दू पंचांग के अनुसार धनतेरस की शुरुआत 22 अक्टूबर 2022 को शाम 6 बजकर 2 मिनट से होगी, वहीं इसका समापन 23 अक्टूबर 2022 को शाम 6 बजकर 3 मिनट पर होगा. ऐसे में ज्योतिष के हिसाब से 23 अक्टूबर को धनतेरस मानी जा रही है. 

इस बार धनतेरस पर कई तरह के संयोग बन रहे हैं, इनके शुभ मुहूर्त के बारे में आप नीचे देख सकते हैं. 

1) खरीदारी का शुभ मुहूर्त 23 अक्टूबर को सुबह 8 बजकर 17 मिनट से शाम  4 बजकर 19 मिनट के बीच रहेगा. इसके बाद 5 बजकर 44 मिनट तक बिल्कुल खरीदारी न करें. 

2) धनतेरस पर 22 अक्टूबर शाम 5 बजकर 13 मिनट से 23 अक्टूबर शाम 4 बजकर 7 मिनट तक इन्द्र योग रहेगा. 

3) धनतेरस पर 23 अक्टूबर को दोपहर 2 बजकर 34 मिनट से अगले दिन सुबह 6 बजकर 27 मिनट तक अमृत सिद्धि योग रहेगा. 

4) 23 अक्टूबर को सुबह 6 बजकर 27 मिनट से अगले दिन सुबह 6 बजकर 27 मिनट तक सर्वार्थ सिद्धि योग रहेगा. 

धनतेरस पूजा विधि (Dhanteras Puja Vidhi) 

धनतेरस पर पंचोपचार से भगवान धन्वंतरि और अन्य भगवानों की पूजा की जाती है. 

– पूजन सामग्री में रोली, हल्दी, फल, अक्षत, मिठाई, माला, फूल, धूप आदि सामग्री रखें/. 

– सबसे पहले गंगाजल से सभी देवताओं को स्नान कराएं. 

– हल्दी और अक्षत सभी देवताओं को अर्पित करें. 

– भगवान को माला अर्पित करें और फल और मिठाई का भोग लगाएं. 

– भगवान धन्वंतरि की पूजा करें उनके मंत्र ‘ॐ नमों भगवते धनवनतराय नमः’ का जाप करें. 

– उनके बाद यम देवता की पूजा करें और उनके मंत्र ‘ॐ यमाय नमः’ मंत्र का जाप करें. 

– इनके बाद कुबेर देवता और माँ लक्ष्मी जी की पूजा करें. 

– पूजा स्थान पर पाँच दिए जलाएं.  

– भगवान की आरती करें और दीपक से पूरे घर को प्रकाशित करें.   

धनतेरस पर कहाँ दीपक लगाएं? (Dhanteras ke Upay) 

धनतेरस पर आप अपने घर में तो दीपक लगाते ही हैं साथ ही माँ लक्ष्मी जी की विशेष कृपा के लिए आप 5 दीपक और भी लगाएं. ये दीपक आपको अपने घर के दरवाजे, तुलसी के पौधे के नीचे, घर के आँगन में, पूजा स्थल में, पीपल के पेड़ के नीचे लगाएं. ऐसा करने से माँ लक्ष्मी प्रसन्न होगी और आपको धन-धान्य से भरपूर रखेगी.  

धनतेरस पर विशेष रूप से भगवान धन्वंतरि की पूजा होती है.  इस दिन आप धनवंतरी स्त्रोत का पाठ भी कर सकते हैं. इनके अलावा इस दिन यम देवता, कुबेर जी और लक्ष्मी जी की पूजा होती है. आप शुभ मुहूर्त में इनकी पूजा करें और इनसे अच्छे स्वास्थ्य और धन-धान्य की कामना करें. 

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By पंडित नितिन कुमार व्यास

ज्योतिषाचार्य पंडित नितिन कुमार व्यास मध्य प्रदेश के बुरहानपुर में रहते हैं. वे पिछले 35 सालों से ज्योतिष संबंधी परामर्श और सेवाएं दे रहे हैं.

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